भोपाल। प्रदेश में भीषण गर्मी में पेयजल संकट के चलते लोग पलायन करने को मजूबर हो गई हैं। हजारों गां वीरान हो गए हैं। बड़े-बड़े पेयजल को लेकर लोग सड़कों पर उतर रहे हैं। लेकिन इस सबके बाबजूद नगरीय विकास एवं आवास विभाग ने दावा किया है कि वर्तमान में कुल 378 नगरीय निकाय में से 258 में प्रतिदिन जल प्रदाय किया जा रहा है। और बाकी प्रदेश में पेयजल पर्याप्त मात्रा में उपल्बध कराया जा रहा है।
इधर नगरीय विकास एवं आवास मंत्री जयवर्द्धन सिंह का कहना है कि सभी नगरीय निकायों में हर परिवार को पेयजल उपलब्ध करवाना शासन का लक्ष्य है। उन्होंने बताया कि सभी 378 नगरीय निकाय में पेयजल की योजनाएं स्वीकृत कर दी गई हैं। इनमें से 197 योजनाएँ पूरी हो गई हैं। शेष 181 नगरीय निकायों की योजनाएँ क्रियान्वयन के विभिन्न चरणों में हैं, जिन्हें मार्च 2020 तक पूरा करने का लक्ष्य है।
विभाग का ये है दावा: वर्ष 2018 में 193, वर्ष 2017 में 206, वर्ष 2016 में 179, वर्ष 2015 में 165 और वर्ष 2014 में 162 नगरीय निकायों में प्रतिदिन जल प्रदाय हो रहा था। एक दिन के अन्तराल से जल प्रदाय करने वाली निकायों की संख्या 130 से घटकर अब 96 रह गई है। दो दिन के अन्तराल से जल प्रदाय करने वाली निकायों की संख्या 62 से घटकर 28 और तीन दिन के अन्तराल से जल प्रदाय करने वाली निकायों की संख्या अब 38 से घटकर मात्र एक रह गई है।
टैंकरों से भी सप्लाई: जल प्रदाय व्यवस्था में सुधार का प्रभाव टैंकरों के माध्यम से किये जाने वाले पेयजल परिवहन पर भी दिखाई दिया। वर्ष 2019-20 में मात्र 32 नगरीय निकाय में टैंकरों से जल परिवहन किया जा रहा है। वर्ष 2016-17 में यह संख्या 130, वर्ष 2017-18 में 136 और वर्ष 2018-19 में 120 नगरीय निकाय थी। इससे पेयजल परिवहन के व्यय में भी कमी आई है।